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20 अगस्त 2011
(१) जला देंगे अपने दिल को दिये की तरह !
तेरी जिंदगी में रौशनी लाने के लिए.....!!
सह लेंगे चुभन को पैरों तले....!
तेरी राहों में फूल बिछाने के लिए !!
(२) यादें होती हैं सताने के लिए !
कोई रूठता हैं फिर मनाने के लिए !!
रिश्ता बनाना कोई मुस्किल तो नहीं !
बस जान चली जाती हैं उसे निभाने के लिए !!
(३) आँशु आँखों से कभी गिर न पाए !
न दर्द हो तुझे न कभी चोट आए !!
मेरे हिस्से में ज्यादा ख़ुशी तो नहीं !
पर रब करे वो भी तुझे मिल जाए !!
(४) जुबान खामौश आँखों में नमी होगी !
यही बस एक दास्ता-ऐ-जिंदगी होगी !!
भरने को तो हर जख्म भर जायेंगे !
कैसे भरेगी वो जगह जहाँ आपकी कमी होगी !!
(५) खुशियों से नाराज़ हैं मेरी जिंदगी !
प्यार की मोहताज़ हैं मेरी जिंदगी...!!
हँस लेते हैं दुसरो को दिखाने के लिए !
वर्ना दर्द की खुली किताब हैं मेरी जिंदगी !!
17 अगस्त 2011
Hindi Shayari - हिंदी शायरी - (भाग - 141)
(१) कहाँ वफा का सिला देते हैं लोग !
अब तो मोहब्बत की सजा देते हैं लोग !!
पहले सजाते हैं दिलो में चाहतों का ख्वाब !
फिर ऐतबार को आग लगा देते हैं लोग !!
(२) कुछ सितारों की चमक नहीं जाती !
कुछ यादों की कसक नहीं जाती....!!
कुछ लोगों से होता हैं ऐसा रिश्ता !
दूर रहकर भी उनकी महक नहीं जाती !!
(३) आज हम भी एक नेक काम कर आए !
दिल की वसीयत किसी के नाम कर आए !!
प्यार हैं उनसे ये जानते हैं वो......!
मज़बूरी थी जो झुकी नज़रों से इनकार कर आए !!
(४) जिसे याद करके ये दिल रो रहा हैं !
वो मुझे तड़पता देख खुश हो रहा हैं !!
चुरा के आँखों से नींद मेरी.....!
वो रातों को चैन से बेखबर सो रहा हैं !!
(५) पलकों पे अपनी बिठाया हैं तुम्हे !
बरी दुवाओ के बाद पाया हैं तुम्हे !!
इतनी आसानी से नहीं मिले हो तुम !
नेशनल जूओलोजिकल पार्क से चुराया हैं तुम्हे !!
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16 अगस्त 2011
Hindi Shayari - हिंदी शायरी - (भाग - 140)
(१) चमन से एक बिछरा हुवा गुलाब हूँ !
मैं खुद अपनी तवाही का जवाब हूँ...!!
यूँ निगाहें न फेरना मुझसे !
दर्द के बाज़ार में बिकता हुवा एक लाचार हूँ !!
(२) पत्थरों से प्यार किया नादान थे हम !
गलती हुई क्योकि इंशान थे हम....!!
आज जिन्हें नज़रें मिलाने में तकलीफ होती हैं !
कभी उसी सक्स की जान थे हम....!!
(३) सुकून-ऐ-जान के लिए दुवा कैसे करू !
दर्द तो उसने दिया हैं, गिला कैसे करू !!
सोचता हूँ कभी की मैं मर जाऊ....!
लेकिन उनको जमाने में अकेला कैसे करू !!
(४) जब ख्वाबो में रिश्ते बनाता हूँ !
तेरे दामन को और करीब पाता हूँ !!
राहे उल्फत मुस्किल हैं मगर...!
तेरी यादों से अपनी साँसे चलाता हूँ !!
(५) भूल जाए तुमको कोई इरादा नहीं हैं !
तेरे सिवा सिकी और से वादा नहीं नहीं हैं !!
निकाल देते दिल से शायद तुमको....!
मगर इस नादान दिल में दरवाजा नहीं हैं !!
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Hindi Shayari - हिंदी शायरी - (भाग - 139)
(१) बेवफा होने का ताना न दिया करो !
न मुझसे कोई सिकायत किया करो !!
तुमको क्या पता कितना याद करते हैं !
हिसाब लगाना हो तो अपनी धड़कन गिन लिया करो !!
(२) मेरे दिल के नाज़ुक धड़कनो को !
तुमने धड़कना सिखा दिया.....!!
जब से मिला हैं प्यार तेरा !
ग़म में भी मुस्कुराना सिखा दिया !!
(३) ahA4�नहाई में जीना अच्छा नहीं लगता !
बिछर के तुम से रहना अच्छा नहीं लगता !!
ये दिल शिर्फ़ तुमको याद करता हैं.....!
हर बार ये बात कहना अच्छा नहीं लगता !!
(४) ऐसा भी नहीं की उससे मिला दे कोई !
कैसी हैं वो बस इतना बता दे कोई....!!
सुखी हैं बरी देर से पलकों की जुवा !
आज की रात तो जी भर के रुला दे कोई !!
(५) दर्द की बाज़ार खुली परी हैं !
वो चीज न लो जो अंदर से जली परी हैं !!
वफ़ा का तलाश छोर दो एय दोस्तों....!
ये दुनियाँ बेवफाओ से भरी परी हैं !!
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13 अगस्त 2011
Happy Rakshabandhan, रक्षाबंधन की बधाई...
(१) रंग बिरंगे मौसम में, सावन की घटा छाई !
खुशियों की सौगात लेकर बहना राखी बाँधने आई !!
बहनों के हाथों से सजा आज भाई की कलाई !
सभी देश वासियों को रक्षाबंधन की बधाई...!!
(२) हे इश्वर मैं तुझसे बहुत प्यार करता हूँ,
तुझपर मैं अपना सबकुछ न्योछाबर करता हूँ!
पर मैं अपनी बहना पर तुझसे भी ज्याद विश्वास करता हूँ!!
रक्षा बंधन की हार्दिक शुभकामना दीदी...
(३) कामयाबी तुम्हारे कदम चूमे,
खुशियाँ तुम्हारे चारो ओर हो!
पर भगवान से इतनी प्रार्थना करने के लिए,
मेरे प्यारे भैया इस बहना को कुछ घुस तो दो !!
ये सन्देश सभी "कंजूस" भैया के लिए...
(४) रिश्ता हैं जन्मो का हमारा,
भरोसे का और प्यार भरा!
चलो इसे बांधे भैया,
राखी के अटूट बंधन में!!
रक्षा बंधन की हार्दिक शुभकामना..
(५) ना पापा के मार से,
ना दोस्तों के फटकार से,
ना लडकियों के इनकार से,
ना चप्पलो के बोछार से,
आप जैसे आशिक सुधरेगे..
सिर्फ राखी के त्यौहार से!!
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5 अगस्त 2011
Hindi Shayari - हिंदी शायरी - (भाग - 138)
(१) आज वो फिर हमें याद आ रही हैं !
रह - रह कर हमें फिर से सता रही हैं !!
कहती थी सदा हँसते रहना आप....!
और खुद ही अपनी याद से मेरा दिल जला रही हैं !!
(२) मेरी उजरी दुनियाँ को तू आबाद न कर !
बीते लम्हों को तू फिर से याद न कर !!
एक कैद परिंदे का हैं तुमसे यही कहना...!
मैं भूल चूका हूँ उरना मुझे फिर से आज़ाद न कर !!
(३) मैं खुद ज़मीन मेरा दिल आसमान का हैं !
टूट के भी मेरा हौसला चट्टान का हैं.....!!
बिछर के मैं उनसे इसलिए नहीं रोया !
वो कह गयी थी ये वक़्त इम्तहान का हैं !!
(४) प्यार मिलता हैं यहाँ किस्मत से !
हर किसी की किस्मत में वफा नहीं होती !!
जिन दिलों में मोहब्बत होती हैं....!
वहा नफरत की जगह नहीं होती !!
(५) कभी दर्द तो कभी दुवा दी हैं !
दिल का चैन आँखों की नींद उरा दी हैं !!
ये तेरी याद हैं या मेरे दर्द का इम्तहान !
जो पलकों के कतरों पे नमी सजा दी हैं !!
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रह - रह कर हमें फिर से सता रही हैं !!
कहती थी सदा हँसते रहना आप....!
और खुद ही अपनी याद से मेरा दिल जला रही हैं !!
(२) मेरी उजरी दुनियाँ को तू आबाद न कर !
बीते लम्हों को तू फिर से याद न कर !!
एक कैद परिंदे का हैं तुमसे यही कहना...!
मैं भूल चूका हूँ उरना मुझे फिर से आज़ाद न कर !!
(३) मैं खुद ज़मीन मेरा दिल आसमान का हैं !
टूट के भी मेरा हौसला चट्टान का हैं.....!!
बिछर के मैं उनसे इसलिए नहीं रोया !
वो कह गयी थी ये वक़्त इम्तहान का हैं !!
(४) प्यार मिलता हैं यहाँ किस्मत से !
हर किसी की किस्मत में वफा नहीं होती !!
जिन दिलों में मोहब्बत होती हैं....!
वहा नफरत की जगह नहीं होती !!
(५) कभी दर्द तो कभी दुवा दी हैं !
दिल का चैन आँखों की नींद उरा दी हैं !!
ये तेरी याद हैं या मेरे दर्द का इम्तहान !
जो पलकों के कतरों पे नमी सजा दी हैं !!
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3 अगस्त 2011
Hindi Shayari - हिंदी शायरी - (भाग - 137)
(१) इस जहाँ में मोहब्बत काश न होती !
तो सफर-ऐ-जिंदगी में मिठास न होती !!
अगर मिलती बेवफा को सजाए मौत...!
तो दीवानों की कब्र यूँ उदाश न होती !!
(२) जियो उसके लिए जो जीने का सहारा हो !
चाहो उसे जो आपको जान से भी प्यारा हो !!
राह में तो मिलेंगे बहुत साथी लेकिन....!
साथ उसका दो जिसने भीर में आपको पुकारा हो !!
(३) किस कदर मुझको सताते हो तुम !
भूल जाने पे भी याद आते हो तुम..!!
जब भी खुदा से कुछ मांगता हूँ !
मेरे दिल की दुवा बन जाते हो तुम !!
(४) जागते हैं तनहा रातों में !
खोते हैं दिल उनकी बातों में !!
मिली नहीं दिल की मंजिल आज तक !
क्योकि दर्द ही दर्द लिखा हैं इन हाथों में !!
(५) चुपके से धड़कन में उतर जायेंग�h !
राहें उल्फत में हद से गुजर जायेंगे !!
आप जो हमें इतना चाहेंगे.....!
हम तो आपकी साँसों में पिघल जायेंगे !!
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