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28 मई 2011

Hindi Shayari - हिंदी शायरी - (भाग - 122)

(१) मुझे उसके पहलु में आशियाना न मिला !
उसकी झुल्फों की छाव में ठिकाना न मिला !!
कह दिया उसने बेवफा मुझको....!
जब उन्हें जानने का कोई बहाना न मिला !!

(२) समझ न सके उन्हें हम !
क्योकि हम प्यार के नशे में चूर थे !!
अब समझ में आया जिसपे हम जान लुटाते थे !
वो दिल तोरने के लिए मशहूर थे !!

(३) उदासी भी मुस्कान बन जायेगी !
रूकती हुई सांसे भी जान बन जायेगी !!
भेज दीजिये हवाओं में अपनी खुशबू !
वो ही हमारी ख़ुशी का फरमान बन जाएगी !!

(४) आपकी धड़कन से हैं रिश्ता हमारा !
आपकी साँसों से हैं नाता हमारा !!
भूल कर भी कभी भूल न जान !
आपकी यादों के सहारे हैं जीना हमारा !!

(५) चाहे प्यार कितनो भी दूर रहे !
प्यार के सिलसिले कभी न कम होंगे !!
जब भी लगे तुम तकलीफ में हो !
पलट कर देखना तेरे पीछे हम होंगे !!

2 Post a Comment:

Unknown 17 जून 2017 को 11:00 pm बजे  

Jo samajhdaar hote hain bo jindgi se gilaa nahi kerte ,
Kyonki sookhe pedon per phool khilaa nahi kerte

Unknown 17 जून 2017 को 11:00 pm बजे  

Jo samajhdaar hote hain bo jindgi se gilaa nahi kerte ,
Kyonki sookhe pedon per phool khilaa nahi kerte

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